नयी दिल्ली: 12 अप्रैल (ए) राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) ने 2008 के नृशंस आतंकवादी हमलों के पीछे बड़ी साजिश की जांच के तहत लगातार दूसरे दिन मुंबई हमलों के साजिशकर्ता तहव्वुर हुसैन राणा से पूछताछ की। सूत्रों ने शनिवार को यह जानकारी दी।
उन्होंने बताया कि एनआईए अधिकारियों की एक टीम राणा से पूछताछ कर रही है ताकि 16 साल पहले देश को झकझोर देने वाले हमलों के पीछे उसकी वास्तविक भूमिका का पता लगाया जा सके।बताया जा रहा है कि जांच एजेंसी द्वारा जांच के दौरान जुटाए गए विभिन्न सबूतों के आधार पर राणा से पूछताछ की जा रही है, जिसमें उसके और सह-साजिशकर्ता डेविड कोलमैन हेडली उर्फ दाऊद गिलानी के बीच बड़ी संख्या में फोन कॉल शामिल हैं। अमेरिकी नागरिक हेडली वर्तमान में अमेरिका की जेल में बंद है।सूत्रों ने बताया कि राणा से उन लोगों के बारे में भी पूछताछ की जाएगी जिनसे उसने मुलाकात की थी, विशेष रूप से दुबई में एक कथित प्रमुख संपर्क के बारे में, जिसके बारे में कहा जाता है कि वह मुंबई आतंकवादी हमलों की साजिश के बारे में जानता था।
अमेरिका से लाए जाने के बाद राणा को दिल्ली की एक अदालत ने एनआईए की 18 दिनों की हिरासत में भेज दिया। इसके बाद उसे शुक्रवार सुबह एनआईए मुख्यालय लाया गया।
सूत्रों ने बताया कि राणा को यहां सीजीओ कॉम्प्लेक्स स्थित एनआईए के मुख्यालय के अंदर एक उच्च सुरक्षा वाले सेल में रखा गया है, जहां चौबीसों घंटे सुरक्षाकर्मी उसकी सुरक्षा में तैनात हैं।
पाकिस्तानी मूल के कनाडाई नागरिक राणा (64) से पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी इंटर-सर्विसेज इंटेलिजेंस (आईएसआई) के अधिकारियों के साथ उसके संदिग्ध संबंधों और आतंकवादी समूह लश्कर-ए-तैयबा (एलईटी) के साथ उसके संबंधों के बारे में भी पूछताछ की जाएगी, जिसने हमलों की साजिश रची थी।
उन्होंने बताया कि जांच अधिकारियों को उम्मीद है कि 26 नवंबर 2008 को देश की वित्तीय राजधानी में हुए हमले से पहले उत्तरी और दक्षिणी भारत के कुछ हिस्सों में उसकी यात्राओं के बारे में कुछ महत्वपूर्ण सुराग मिलेंगे।
शुक्रवार की सुबह अदालत के फैसले के तुरंत बाद एनआईए द्वारा जारी एक बयान में कहा गया, ‘‘राणा 18 दिनों तक एनआईए की हिरासत में रहेगा, इस दौरान एजेंसी उससे 2008 के घातक हमलों के पीछे की पूरी साजिश का पता लगाने के लिए विस्तार से पूछताछ करेगी, जिसमें कुल 166 लोग मारे गए थे और 238 से अधिक घायल हुए थे।’’
आतंकवाद रोधी एजेंसी ने अमेरिका से प्रत्यर्पण के बाद राणा के बृहस्पतिवार शाम इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर पहुंचने के बाद उसे औपचारिक रूप से गिरफ्तार कर लिया था और फिर पटियाला हाउस स्थित एनआईए की विशेष अदालत में पेश किया था।
एनआईए ने अदालत में दावा किया कि उसे संदेह है कि राणा ने कई भारतीय शहरों को निशाना बनाने के लिए 26/11 मुंबई हमलों जैसी आतंकी साजिश रची थी।
अपने आदेश में अदालत ने एनआईए को हर 24 घंटे में राणा की चिकित्सा जांच कराने और हर दूसरे दिन उसे अपने वकील से मिलने की अनुमति देने का भी निर्देश दिया।
राणा पर षड्यंत्र, हत्या, आतंकवादी कृत्य करने और जालसाजी सहित कई अपराधों के आरोप लगाए गए हैं।
वर्ष 2009 में मामला दर्ज करने के बाद एनआईए की जांच में हमलों को अंजाम देने में पाकिस्तान स्थित आतंकवादी समूह हरकत-उल जिहादी इस्लामी (हूजी) के आतंकियों की भी भूमिका पाई गई थी।