गुवाहाटी/ मोरीगांव, दो जुलाई (ए) मणिपुर के नोनी जिले में एक रेलवे निर्माण स्थल पर भूस्खलन में दो सुरक्षाकर्मियों सहित असम के सात लोगों की मौत हो गई। अधिकारियों ने शनिवार को यह जानकारी दी।
उन्होंने कहा कि इस हादसे में कम से कम 12 और कर्मचारी अब भी लापता हैं। पड़ोसी राज्य के तुपुल यार्ड रेलवे निर्माण शिविर में बुधवार रात भूस्खलन में मरने वालों की संख्या बढ़कर 25 हो गई है, जबकि 38 अन्य अभी भी लापता हैं।
मोरीगांव के उपायुक्त पी. आर. घरफालिया ने बताया कि जिले के चार लोगों के शव शुक्रवार को बरामद किए गए और उनकी पहचान की गई, जबकि एक की पहचान एक दिन पहले की गई थी।
उन्होंने कहा, ‘‘अब तक मोरीगांव के पांच लोगों के भूस्खलन में मारे जाने की पुष्टि हो चुकी है। इस जिले से उसी जगह पर काम कर रहे कई अन्य लोग अब भी लापता हैं।’’
असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने शुक्रवार को मोरीगांव जिले के 22 नामों की एक सूची साझा की थी जो रेलवे निर्माण स्थल पर लगे थे। इनमें से पांच को बचा लिया गया, पांच की मौत की पुष्टि हो गई है और 12 अन्य का पता लगाया जाना बाकी है।
भूस्खलन में मारे गए बजली जिले के रहने वाले सेना के जवान के पार्थिव शरीर को मणिपुर से विशेष विमान से राज्य लाया गया और उसके गांव ले जाया गया, जहां उनका अंतिम संस्कार किया गया।
असम के कैबिनेट मंत्री पीयूष हजारिका, जिन्हें सरमा ने दुर्घटनास्थल पर खोजबीन और बचाव कार्यों की देखरेख के लिए प्रतिनियुक्त किया था, शनिवार को तुपुल पहुंचे।
हजारिका ने ट्वीट किया, ‘‘मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा के निर्देश पर मैंने मणिपुर के तुपुल में क्षेत्रीय सैन्य शिविर का दौरा किया, जो एक बड़े भूस्खलन से तबाह हो गया था। मैंने बचाव अभियान का भी जायजा लिया।’’
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार बचाव कार्यों में राज्य को हर संभव साजो-सामान मुहैया करा रही है। मंत्री ने कहा, ‘‘मैं इस आपदा से प्रभावित सभी लोगों के लिए प्रार्थना करता हूं और मैं मृतकों के शोक संतप्त परिवारों के प्रति अपनी गहरी संवेदना व्यक्त करता हूं।’’