नयी दिल्ली: 14 अप्रैल (ए) प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने रविवार को भू-राजनीतिक तनाव से घिरी अनिश्चित दुनिया में एक मजबूत और स्थिर सरकार चुनने की वकालत की और लोकसभा चुनाव के लिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का घोषणापत्र जारी किया, जिसमें लोकलुभावन उपायों और एनआरसी जैसे विवादास्पद मुद्दों से परहेज करते हुए विकास और कल्याण को प्राथमिकता दी गई है।
‘मोदी की गारंटी’ शीर्षक से जारी घोषणापत्र काफी हद तक समाज के विभिन्न वर्गों को लक्षित सरकार की मौजूदा कल्याणकारी योजनाओं पर आधारित है, जबकि भाजपा की ‘एक-राष्ट्र-एक-चुनाव’ और ‘समान नागरिक संहिता’ को लागू करने की प्रतिबद्धता को दोहराया गया है। इन दोनों मुद्दों का उल्लेख भाजपा के 2019 के घोषणापत्र में भी किया गया था। सरकार ने इनके क्रियान्वयन के लिए कुछ ठोस कदम उठाए हैं।भाजपा ने ‘आयुष्मान भारत’ योजना में 70 वर्ष से अधिक आयु के सभी वरिष्ठ नागरिकों को शामिल करने का वादा किया, जो पांच लाख रुपये तक का स्वास्थ्य बीमा प्रदान करती है।पार्टी ने उत्तर, दक्षिण और पूर्वी भारत में बुलेट ट्रेनों पर विचार करने और वंदे भारत, अमृत भारत और नमो भारत जैसी अत्याधुनिक ट्रेनों का विस्तार करने की भी बात की।भारत को खेलों में विश्व गुरु बनाने के लिए खेल पारिस्थितिकी तंत्र को मजबूत करने का वादा करते हुए भाजपा के ‘संकल्प पत्र’ में कहा गया है कि उनकी सरकार 2036 में ओलंपिक खेलों की मेजबानी के लिए बोली लगाने के लिए भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) की मदद करेगी।पार्टी ने पूर्वोत्तर राज्यों में चरणबद्ध तरीके से सशस्त्र बल (विशेषाधिकार) अधिनियम (आफस्पा) हटाने के प्रयासों को जारी रखने और ‘ऐक्ट ईस्ट’ नीति के लिए रणनीतिक प्रवेश द्वार के रूप में क्षेत्र का लाभ उठाने का भी वादा किया।
मोदी ने भाजपा मुख्यालय में आयोजित कार्यक्रम में अपनी सरकार की योजनाओं के कुछ लाभार्थियों को घोषणापत्र की पहली प्रति सौंपी।
अयोध्या में राम मंदिर निर्माण का अपना दशकों पुराना वादा पूरा करने के बाद अपने सांस्कृतिक एजेंडे को छूते हुए भाजपा ने कहा कि उसकी सरकार काशी विश्वनाथ कॉरिडोर मॉडल से प्रेरित धार्मिक और पर्यटन स्थलों को विकसित करने के लिए देश भर में महत्वपूर्ण नई परियोजनाएं शुरू करेगी।
घोषणापत्र में अयोध्या के समग्र विकास, प्राचीन सभ्यतागत परंपराओं और संस्कृति के संरक्षण के लिए भारतीय संस्कृति कोष की स्थापना और विवाह स्थलों के तौर पर चुनिंदा स्थलों को विकसित करके ‘भारत में ब्याह’ को बढ़ावा देने का वादा किया गया है।
घोषणापत्र के वादों को 10 सामाजिक समूहों के तहत वर्गीकृत किया गया है, जिसमें गरीब, मध्यम वर्ग, महिलाएं, युवा, वरिष्ठ नागरिक, किसान, मछुआरे, मजदूर, व्यापारी और अनुसूचित जाति (एससी) और अनुसूचित जनजाति (एसटी) जैसे पारंपरिक रूप से वंचित वर्ग शामिल हैं। इसमें 14 मुद्दे हैं, जिनमें सुरक्षित भारत, समृद्ध भारत और शहरों में रहने की सुगमता शामिल हैं।
मोदी, केंद्रीय मंत्री अमित शाह, राजनाथ सिंह और पार्टी अध्यक्ष जे पी नड्डा सहित अन्य वरिष्ठ नेताओं द्वारा जारी घोषणापत्र में हालांकि राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) का कोई उल्लेख नहीं है, जिसका वादा भाजपा ने 2019 में घुसपैठ से निपटने के लिए किया था। हालांकि, विरोध प्रदर्शनों के बाद इसे ठंडे बस्ते में डाल दिया गया था।
मोदी ने अपने भाषण में देश के विकास को बढ़ावा देने के अपने दृष्टिकोण पर जोर देते हुए कहा कि घोषणापत्र युवा भारत की आकांक्षाओं को दर्शाता है, जो जीवन की गुणवत्ता और गरिमा पर ध्यान केंद्रित करता है और युवा आबादी के लिए मात्रात्मक और गुणात्मक रूप से उच्च अवसर पैदा करता है।
उन्होंने कहा कि संघर्षों के बीच दुनिया अनिश्चितताओं से भरी हुई है और ऐसी स्थिति में रह रहे भारतीयों की सुरक्षा सरकार की प्राथमिकता है।
उन्होंने कहा कि इस समय पूर्ण बहुमत वाली मजबूत और स्थिर सरकार की जरूरत है।
घोषणापत्र में 80 करोड़ से अधिक लोगों के लिए मुफ्त राशन योजना को अगले पांच वर्षों तक जारी रखने के सरकार के फैसले पर प्रकाश डाला गया है और किसी भी कीमत पर ‘गरीब की थाली’ की रक्षा करने का संकल्प लिया गया है।
पार्टी ने गरीबों के लिए आवास योजना का विस्तार करने और उन्हें छत पर सौर ऊर्जा योजना के साथ मुफ्त बिजली प्रदान करने का वादा किया है।
मध्यम वर्ग के लिए पार्टी ने एक घर के मालिक होने के अपने सपने को पूरा करने, अच्छी नौकरी और रहने के लिए बेहतर बुनियादी ढांचे का निर्माण करने के लिए कई उपायों का वादा किया है।
सत्तारूढ़ दल ने तीन करोड़ ग्रामीण महिलाओं को ‘लखपति दीदी’ बनाने के सरकार के प्रयासों पर प्रकाश डाला और खेल में उनकी अधिक भागीदारी और उनके लिए सार्वजनिक शौचालयों के निर्माण और रखरखाव के लिए अपनी प्रतिबद्धता को रेखांकित किया।
पार्टी की ओर से युवाओं से वादा किया गया है कि पेपर लीक के खिलाफ हाल में बनाए गए कानून को सख्ती से लागू किया जाएगा, स्टार्ट-अप पारिस्थितिकी तंत्र को बढ़ावा मिलेगा और रोजगार के अवसर सुनिश्चित किए जाएंगे।
पार्टी ने कहा, ‘‘हम और अधिक वैश्विक क्षमता केंद्र, वैश्विक प्रौद्योगिकी केंद्र और वैश्विक इंजीनियरिंग केंद्र स्थापित करके भारत को उच्च मूल्य सेवाओं का वैश्विक केंद्र बनाने के अपने प्रयासों को और मजबूत करेंगे। मुद्रा ऋण की सीमा भी बढ़ाकर 20 लाख रुपये की जाएगी।’’
भाजपा ने कहा कि उसकी सरकार भारत को दलहन और खाद्य तेल के उत्पादन में आत्मनिर्भर बनाने और मोटे अनाज को सुपरफूड के रूप में बढ़ावा देने के लिए किसानों का समर्थन करेगी।