Site icon Asian News Service

किसानों का ‘दिल्ली चलो’ मार्च: एसकेएम नेता ने ‘हिरासत’ में लिए किसानों की रिहाई की मांग की

Spread the love

चंडीगढ़: 12 फरवरी (ए) किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने सोमवार को कहा कि ‘दिल्ली चलो’ मार्च का समर्थन करने के लिए कर्नाटक और मध्य प्रदेश समेत अन्य राज्यों से आ रहे कई किसानों को हिरासत में ले लिया गया है जिन्हें रिहा किया जाना चाहिए।

संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) (गैर-राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा ने घोषणा की है कि फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) के वास्ते कानून बनाने सहित कई मांगों को लेकर केंद्र पर दबाव बनाने के वास्ते 200 से अधिक किसान संगठन 13 फरवरी को दिल्ली तक मार्च करेंगे।

डल्लेवाल ने दावा किया कि एसकेएम के प्रति समर्थन जताते हुए मध्य प्रदेश तथा कर्नाटक से आ रहे कई किसानों को भोपाल में हिरासत में लिया गया है।

एसकेएम नेता डल्लेवाल ने कहा, ‘‘एक तरफ, वे (केंद्र) हमारे साथ बातचीत कर रहे हैं और दूसरी तरफ, वे हमारे लोगों को हिरासत में ले रहे हैं। फिर यह वार्ता कैसे होगी?’’

उन्होंने कहा, ‘‘हमने सरकार से कहा है कि वह हमारे लोगों को रिहा करे। सरकार को वार्ता के लिए सकारात्मक माहौल बनाने की जरूरत है।’’

भारती किसान यूनियन (एकता सिद्धूपुर) के अध्यक्ष डल्लेवाल ने कहा, ‘‘अगर सरकार यह कह रही है कि वह सकारात्मक (वार्ता के लिए) है तो किसान और ज्यादा सकारात्मक हैं। हमारा हंगामा करने और किसी को नुकसान पहुंचाने का कोई इरादा नहीं है। हम शांतिपूर्ण तरीके से प्रदर्शन करने वाले लोग हैं।’’

डल्लेवाल ने कहा कि किसान नेता मोहाली के अंब साहिब में बैठक करने वाले हैं।

उन्होंने पंजाब-हरियाणा सीमा पर सुरक्षा के भारी इंतजाम करने और ‘दिल्ली चलो’ मार्च में हिस्सा लेने वाले किसानों को कथित तौर पर प्रताड़ित किए जाने को लेकर हरियाणा सरकार की आलोचना की।

डल्लेवाल ने कहा कि एक तरफ सरकार किसानों से बातचीत कर रही है और दूसरी तरफ पंजाब-हरियाणा सीमा पर भारी अवरोधक लगाए गए हैं।

तीन केंद्रीय मंत्री ‘दिल्ली चलो’ मार्च के तहत दिल्ली कूच करने की योजना बनाने वाले किसान नेताओं के एक प्रतिनिधिमंडल से मुलाकात करेंगे।

केंद्रीय कृषि मंत्री अर्जुन मुंडा, खाद्य मंत्री पीयूष गोयल और गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय का सोमवार शाम चंडीगढ़ में एसकेएम समेत अन्य किसान संघों के सदस्यों से दूसरे चरण की बातचीत करने का कार्यक्रम है। यह बैठक शाम पांच बजे सेक्टर 26 में ‘महात्मा गांधी स्टेट इंस्टिट्यूट ऑफ पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन’ में होगी।

तीनों केंद्रीय मंत्रियों के साथ किसान नेताओं की पहली बैठक आठ फरवरी को हुई थी।

न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) के लिए कानूनी गारंटी के अलावा, किसान स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों को लागू करने, किसानों व कृषि मजदूरों के लिए पेंशन, कृषि ऋण माफ करने, पुलिस में दर्ज मामलों को वापस लेने और लखीमपुरी खीरी हिंसा के पीड़ितों के लिए ‘‘न्याय’’ की मांग कर रहे हैं।

Exit mobile version