पतंग के मांझे से गला कटने से चार व्यक्तियों की मौत

राष्ट्रीय
Spread the love

अहमदाबाद: 14 जनवरी (ए) गुजरात में मंगलवार को उत्तरायण उत्सव के दौरान पतंग के मांझे से गला कटने से चार वर्षीय एक बालक समेत चार व्यक्तियों की मौत हो गई। पुलिस ने यह जानकारी दी।

अधिकारियों ने बताया कि राजकोट, पंचमहाल, मेहसाणा और सुरेन्द्रनगर जिलों में एक-एक व्यक्ति की मौत हुई, जबकि राज्य भर में कई लोगों के घायल होने की खबर है।स्थानीय पुलिस थाने के एक अधिकारी ने बताया कि पंचमहाल जिले के हलोल कस्बे में कुणाल परमार (चार) की गर्दन पतंग के मांझे से कटने से अत्यधिक खून बहने से मौत हो गई। अधिकारी ने बताया कि कुणाल अपने पिता के साथ मोटरसाइकिल पर सवार होकर बाजार से पतंग और गुब्बारे खरीदने जा रहा था, तभी मांझे का एक टुकड़ा उसकी गर्दन में फंस गया, जिससे उसके गर्दन पर गहरा घाव हो गया।

अधिकारी ने कहा, ‘‘बालक को अस्पताल ले जाया गया, लेकिन इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई।’’ मेहसाणा जिले के वडनगर तालुका में किसान मनसाजी ठाकोर (35) की मौत हो गई।

वडनगर पुलिस थाने के एक अधिकारी ने कहा, ‘‘ मनसाजी ठाकोर मोटरसाइकिल से अपने गांव वडबार में अपने खेत जा रहा था, तभी पतंग के मांझे से उसकी गर्दन कट गई। उसे अस्पताल ले जाया गया, लेकिन इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई।’’

राजकोट शहर के बाहरी इलाके में मोटरसाइकिल सवार एक अज्ञात व्यक्ति की भी इसी तरह मौत हो गई।

पुलिस ने बताया कि ईश्वर ठाकोर (35) की मौत सुरेंद्रनगर जिले के पाटडी तालुका में मोटरसाइकिल चलाते समय पतंग के मांझे से गर्दन में गहरा घाव होने से हो गई।

राज्य में 108 एंबुलेंस सेवा संचालित करने वाली जीवीके ईएमआरआई ने पिछले साल की तुलना में उत्तरायण पर आपातकालीन मामलों में वृद्धि की सूचना दी। जीवीके ईएमआरआई के एक अधिकारी ने बताया कि शाम 6 बजे तक प्राप्त आपातकालीन कॉल की संख्या 3,707 थी, जबकि 2024 में इसी दिन 3,362 कॉल प्राप्त हुई थीं। इनमें पतंग उड़ाते समय पतंग के मांझे से कटने और छत से गिरने के कई मामले शामिल हैं। नायलॉन से बना या कुचले हुए कांच से लेपित मांझा इतना तीखा होता है कि इससे जानलेवा घाव हो सकता है। प्रतिबंधित होने के बावजूद, पतंग के शौकीन इसे अपने विरोधियों की पतंग काटने के लिए इस्तेमाल करते हैं।

सोमवार को, राज्य सरकार ने एक याचिका के जवाब में गुजरात उच्च न्यायालय को सूचित किया था कि उत्तरायण से पहले चीनी मांझा और कांच से लेपित मांझे के कथित निर्माण, बिक्री और भंडारण के लिए कुल 609 प्राथमिकी दर्ज की गईं और 612 व्यक्तियों को गिरफ्तार किया गया।

चौबीस दिसंबर, 2024 की एक अधिसूचना में इन पर पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया गया, लेकिन फिर भी ये पतंग के शौकीनों के हाथों में पहुंच गए।