नयी दिल्ली, 11 नवंबर (ए) उच्चतम न्यायालय ने पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी हत्याकांड में उम्रकैद की सज़ा काट रहे नलिनी श्रीहरन और आर. पी. रविचंद्रन समेत छह दोषियों को समय से पहले रिहा करने का शुक्रवार को निर्देश दिया।.
न्यायालय ने इस तथ्य पर भी गौर किया कि तमिलनाडु सरकार ने दोषियों को सजा में छूट देने की सिफारिश की है।.न्यायमूर्ति बी आर गवई और न्यायमूर्ति बी वी नागरत्ना की पीठ ने कहा कि जिस नियम के तहत एजी पेरारिवलन को रिहाई दी गई थी, वो इस मामले में दोषी पाए गए अन्य पर भी लागू होती है। ये सभी आरोपी करीब 31 साल से जेल में बंद थे। बता दें कि राजीव गांधी की हत्या 21 मई 1991 को तमिलनाडु के श्रीपेरंबुदूर में आत्मघाती बम धमाके में हुई थी। राज्य सरकार ने अनुच्छेद-161 के तहत इन दोषियों की रिहाई के लिए प्रस्ताव पास किया था। इस अनुच्छेद के अनुसार, राज्य के राज्यपाल के पास किसी ऐसे मामले से संबंधित किसी भी कानून के खिलाफ किसी भी अपराध के लिये दोषी ठहराए गए व्यक्ति की सजा को माफ करने, राहत देने या निलंबित करने, हटाने या कम करने की शक्ति होती है। इसके लिए राज्य सरकार की तरफ से राज्यपाल को प्रस्ताव भेजा जाता है। राज्य सरकार के प्रस्ताव को मानने के लिए राज्यपाल बाध्यकारी होता है।